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तबाही (रहस्य...रोमाँच)
तबाही (रहस्य...रोमाँच)
तबाही (रहस्य...रोमाँच)
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तबाही (रहस्य...रोमाँच)

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तबाही (रहस्य...रोमाँच)
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तालिका
दो शब्द
गर्व और सम्मान
नॉर्वे एक स्वर्ग
समारोह के बाद
एक वर्ष पहले
दो दिन बाद
उसी शाम को
नॉरहेमसुंड, नॉर्वे
रात का खाना
असदीस निवास के बाहर
प्रभात के समय

विदेश में रह रहे जवान बेटे की अचानक मौत, दिल्ली में रहने वाली डॉक्टर और लेखिका माँ को उस देश में जाने को मजबूर कर देती है।

बुद्धिमान, स्नेह से भरी हुई, बहादुर माँ, बेटे की मौत की सच्चाई का पता लगाने को वहां पहुँचती है, और फिर वो राज खुलता है जो सबको हैरान कर देता है।

ये उस माँ के संघर्ष की एक ऐसी कहानी है जो हर उन माँ बाप को सोचने पर मजबूर कर देगी जिनके बेटे या बेटियां विदेश में पढ़ते हैं या रहते है।

शुभकामना

प्रोफेसर राजकुमार शर्मा

Languageहिन्दी
PublisherRaja Sharma
Release dateSep 19, 2022
ISBN9781005485306
तबाही (रहस्य...रोमाँच)

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    तबाही (रहस्य...रोमाँच) - शलभ सिंह

    तबाही (रहस्य...रोमाँच)

    शलभ सिंह

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    कॉपीराइट@२०२२ शलभ सिंह

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    तालिका

    तबाही (रहस्य...रोमाँच)

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    तालिका

    दो शब्द

    गर्व और सम्मान

    नॉर्वे एक स्वर्ग

    समारोह के बाद

    एक वर्ष पहले

    दो दिन बाद

    उसी शाम को

    नॉरहेमसुंड, नॉर्वे

    रात का खाना

    असदीस निवास के बाहर

    प्रभात के समय

    दो शब्द

    विदेश में रह रहे जवान बेटे की अचानक मौत, दिल्ली में रहने वाली डॉक्टर और लेखिका माँ को उस देश में जाने को मजबूर कर देती है।

    बुद्धिमान, स्नेह से भरी हुई, बहादुर माँ, बेटे की मौत की सच्चाई का पता लगाने को वहां पहुँचती है, और फिर वो राज खुलता है जो सबको हैरान कर देता है।

    ये उस माँ के संघर्ष की एक ऐसी कहानी है जो हर उन माँ बाप को सोचने पर मजबूर कर देगी जिनके बेटे या बेटियां विदेश में पढ़ते हैं या रहते है।

    शुभकामना

    प्रोफेसर राजकुमार शर्मा

    गर्व और सम्मान

    स्थान, नॉर्वे की राजधानीओस्लो, में ओस्लो विश्वविद्यालय का औला हॉल, जहाँ बहुत से दर्शक शांत बैठे मंच से बोल रही एक महिला वक्ता को सुन रहे हैं।

    "आज मैं अपने दुःख को भूलकर इस मंच पर खड़ी गर्व महसूस कर रही हूँ, और आप लोगों को देखकर यकीन ही नहीं कर पा रही हूँ के दुनिया में

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