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येलो नोटबुक: uk०७d२०४२
येलो नोटबुक: uk०७d२०४२
येलो नोटबुक: uk०७d२०४२
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येलो नोटबुक: uk०७d२०४२

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About this ebook

यह पुस्तक भविष्य में हुई कहानियो को बताती है और एक दुसरे ब्रह्माण्ड से जोडती हैं कैसे एक मर्डर होता है कैसे सब लोग गायब हो जाते है ये सारी बाते २०३९ के समय की है जो 9 अरब साल के एक कृत्रिम ग्रह से जा मिलती है जहाँ का एक निवासी पृथ्वी पर राज करना चाहता है जिसका नाम रोश हैं , जो बहुत ताकत वर है , इस कहानी में गायत्री वल्लभ के १० सुपर पॉवर में से ज्योत्स्ना ,स्नेह ,एलिमेंट का ही परिचय करवाया गया हैं , गायत्री अपने बदले चक्कर में सब बिगड़ देता है जिसका बदला जया एक समय भंवर बनाकर लेती हैं जब वो येल्लो नोट बुक में अपनी कहानी पढ़ती हैं तो वो गायत्री को मार देती है

Languageहिन्दी
PublisherPencil
Release dateSep 9, 2021
ISBN9789354585449
येलो नोटबुक: uk०७d२०४२

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    येलो नोटबुक - शक्ति राव मणि

    येलो नोटबुक

    uk०७d२०४२

    BY

    शक्ति राव मणि


    pencil-logo

    ISBN 9789354585449

    © Shakti Rao Mani 2021

    Published in India 2021 by Pencil

    Contributors:

    Co-Author: Shivam Rao Mani

    A brand of

    One Point Six Technologies Pvt. Ltd.

    123, Building J2, Shram Seva Premises,

    Wadala Truck Terminal, Wadala (E)

    Mumbai 400037, Maharashtra, INDIA

    E connect@thepencilapp.com

    W www.thepencilapp.com

    All rights reserved worldwide

    No part of this publication may be reproduced, stored in or introduced into a retrieval system, or transmitted, in any form, or by any means (electronic, mechanical, photocopying, recording or otherwise), without the prior written permission of the Publisher. Any person who commits an unauthorized act in relation to this publication can be liable to criminal prosecution and civil claims for damages.

    DISCLAIMER: This is a work of fiction. Names, characters, places, events and incidents are the products of the author's imagination. The opinions expressed in this book do not seek to reflect the views of the Publisher.

    Author biography

    शक्ति राव मणि जिनका जन्म उत्तराखंड में हुआ इन्होने साहित्य इनके भाई शिवम् राव मणि द्वार शुरूकिया  इस पुस्तक में सह लेखक की यह भूमिका में हैं दोनों भाइयो का जन्म देहरादून के क्षेत्र डोईवाला में हुआ है जहाँ दोनों शिक्षा एक साथ हरज्ञानचंद सरस्वती विद्या मंदिर में हुई उसके बाद शक्ति राव की शिक्षा , उत्तरप्रदेश ,दिल्ली,हरिद्वार,पुणे आदि जगह से विज्ञान के क्षेत्र में हुई हैं

    Contents

    भाग प्रथम

    अध्याय पहला

    अध्याय दूसरा

    अध्याय तीसरा

    अध्याय चौथा

    अध्याय पांचवा

    अध्याय छठा

    अध्याय सातवां

    Introduction

     येलो नोटबुक प्रथम भाग जिसमे गायत्री वल्लभ  नमक किरदार सबको अपने वश में करके रखता हैं , जिसकी वजह से इतर ब्रह्माण्ड में लूप बनते हैं यहाँ कहानी गायत्री वल्लभ की कहानी का प्रथम भाग है जिसे शक्ति राव मणि व शिवम् राव मणि द्वारा लिखा गया हैं .शक्ति राव मणि ने कहानी को बखूबी लिखा और शिवम् राव मणि द्वारा कहानी को आगे ले जाने का कार्य किया गया है . जहाँ शिवम् राव कहानी को एक रूप देकर आगे बढ़ाते है वहीँ शक्ति राव मणि द्वारा यहाँ समय भंवर , समानांतर ब्रह्माण्ड आदि की कल्पनाओ को बहुत ही अक्स्हे तरीके से प्रस्तुत किया हैं ..

    भाग प्रथम

    अध्याय पहला

    गोविन्दपुरी घाट हत्याकांड

    एन्सेलेडस

    रोश :- शाहीन तुम तो मेरे पिताजी के खास दोस्त हो तुम्हें तो मालूम होगा आखिर कहां गए हैं?

     शाहीन:- आपके पिताजी पृथ्वी गए हैं, गायत्री वल्लभ से मदद के लिए.

     रोश:- अच्छा गायत्री वल्लभ वो  वैज्ञानिक जिसने निर्देशांक को बताया ,मैंने कहानियों में सुना है कि उस समय दस सुपर पावर वाले लोग भी थे.

     शाहीन :- हो सकते हैं.

     रोश:- तो बेवकूफ कर क्या रहे हो ,वह यंत्र बनाओ जिससे उस लूप को पार कर पृथ्वी पर जाया जा सके .

    शाहीन और उसके सहायक टीम ऐसा यंत्र तैयार करते हैं जो लूप को पार कर पृथ्वी ले जाए.

    8 दिसंबर 2038

     रोश:- देखो वह है सी-आर .

     सी-आर  उसे देखता है

    सी-आर :- ऋत्विक हमें बाद मैं मिलना चाहिए तुम यहां से अभी जाओ बस याद रखो 2027 के बाद जब गायत्री की मौत हुई तब से मैं आजाद हुआ परंतु अगर तुम स्नेहा को बचाने की सोच रहे हो तो भूल जाओ जैसे ही तुम उस घटना को बदलने की कोशिश करोगे तो गायत्री का वशीकरण मुझ पर फिर से शुरू हो जाएगा तब मैं कुलेंद्र बन जाऊंगा और उस वक्त में उस शख्स के लिए मौत बन जाऊंगा जो घटना को छेड़ेगा यानी कि तुम मारे जाओगे.

    ऋत्विक सी-आर के कहने पर भाग जाता है रोश अपने पिता को पकड़ने के लिए आता है पर सी-आर कुलेंद्र बनकर गायत्री के बनाए घटना चक्र में छुप जाता है

    रोश:- कब तक भागोगे पिताजी!

    शाहीन :- सर यहां दो पृथ्वीवासी महिलाओं की लाश है, क्या करें?

     रोश:- यह लाश (स्नेहा आंटी की लाश की तरफ इशारा करके) इसमें से वही ऊर्जा महसूस हो रही है जो मेरे अंदर है शाहीन एक काम करो हमारे ग्रह से मिलकेनियम तत्वों का एक बॉक्स भर कर लेकर आओ और यहां रख दो यह उन 10 शक्तिशाली लोगों में से एक है. और यह मर चुकी है शाहीन ऐसा ही करता है. और वो सब गायब हो जाते हैं

     गोविंदपुरी घाट पर पुलिस पहुंचती है आसपास के लोगों से पूछताछ से पता चलता है की मृत्यु के वक्त यहां तीन मृतक ,एक लड़का और एक व्यक्ति थे .

    रिसो :- लोगों ने कहा कि यहां 3 लोगों की मृत्यु हुई है , पर यहां केवल 2 महिलाओं की लाश है और यह बक्सा है, रूद्र सबूत इकट्ठा करो और देखो यह बॉक्स यहां इन लाशों के पास है ,आखिर क्या है इसमें?

    रूद्र:- कुछ केमिकल जैसा लगता है ऐसा करते हैं इसे हमारी लैब में भेजते हैं जो एचएनबी यूनिवर्सिटी में जा चुकी है....

    एचएनबी यूनिवर्सिटी

     हरिहर नेगी:- टम्टा जी जरा वह केमिकल का बॉक्स दो जो रूद्र ने भेजा है

    अंकित :-जी सर यहां लीजिए.

     हरिहर नेगी और तमता केमिकल टेस्ट करते हैं तो पाते हैं कि यहां तत्व पृथ्वी पर मौजूद तत्वों से अलग है ,तत्वों की गहराई में जाते हुए टम्टा ने बताया कि यहां तत्व सांकेतिक रूप से अभी नहीं बन सकता ,तत्व में से रेडिएशन निकल रहा है जो ऊर्जा को समा सकता है यह तत्व बाहरी दुनिया का है.

     अंकित:- हमें यहां बात बतानी चाहिए

    नेगी जी:- नहीं अभी नहीं! उन्हें बस कह दो कि यहां मामूली सा तत्व है और एक झूठी जानकारी दो .

    अंकित:- परंतु....

     नेगी जी:- तुम समझो बात को यह तत्व अजीब है तुम इस पर कार्य करो और इसे छुपा कर रखो.

     2 दिन बाद

    हेलो मैं अंकित... जो केमिकल का बॉक्स आपने भेजा था उसमें केवल इंडस्ट्रीयल केमिकल थे जो ज्यादा घातक नहीं है यह मात्रा सफाई के इस्तेमाल में लाए जाने वाले केमिकल है जैसे मशीनों की धुलाई आदि में उपयोग में लाया जाता है सभी सूची में आपके दरोगा को भेज रहा हूं

    अंकित :-मेंलभेजा जा चुका है

    नेगी जी:- इस तत्व पर तुम काम करो कोई भी डिटेल बाहर नहीं जानी चाहिए .

    अंकित कंपाउंड एंड केमिस्ट्री डिपार्टमेंट में  इस पर कार्य करना शुरू कर देता है.

     ऑफिसर रिसो:- रुद्र आज 5 दिन हो गए हैं शांतनु की मौत का कोई सबूत नहीं मिला रूद्र सर हमने वहां मिले खून की जांच करवाई तो उन दो लाश के अलावा सबसे ज्यादा मात्रा में जिस व्यक्ति का खून मिला है वो वह नहीं है मतलब तीसरा भी कोई मरा है लोग सही कह रहे थे, वहां 3 मौत हुई है .

    रूद्र और रिसो जया के घर जाते हैं

     जया की मम्मी (रोते हुए):- अगर उसने जिद ना की होती तो उसका भी अपना एक परिवार होता पंडित सही कहता था, अगर राजीव जया से न ही मिलती तो अच्छा होता यह दिन कभी आता ही नहीं,

     रिसो :-आप शांत रहें पहले यह बताएं राजीव कौन है?

     जया की मम्मी:- वही तो कारण है ,उसकी शादी होने वाली थी राजीव से, राजीव को एक मर्डर केस मिला वह उसमें गायब हो गया और वह फिर मिला ही नहीं ,उसे ढूंढने की तलाश में जया  पागल सी हो गई उसने एक यंत्र बनाया जिससे समय में पीछे जाया जा सके वह उसी पर कार्य कर रही थी .

    रुद्र और रिसो वहां से बाहर आते हैं.

     रूद्र:- सर जया की डिटेल तो है हमारे पास, परंतु यह जो स्नेहा आंटी मरी है इसका कोई नामोनिशान नहीं है.

     रिसो :- तुमने गौर किया लोगों ने बताया कि वहां 3 लोग मरे रिपोर्ट में भी वहां तीन लोग के खून पाए गए लोगों के मुताबिक उस जगह वहां से 3 लोग अचानक गायब हुए और जया के मां के मुताबिक जया एक टाइम मशीन पर कार्य कर रही थी ,और लाशों के पास एक बॉक्स मिला एक इंडस्ट्रियल केमिकल का,

     रूद्र एक काम करो जया अगर सच में किसी ऐसी मशीन पर कार्य कर रही थी.. तो जरूर उसके सबूत होंगे ही.

     रूद्र:- सर ऐसे कार्यों के लिए लैब चाहिए और सहायक भी हमें इनके कॉलेज में पता करना होगा .

    जया के घर से पता चला कि उनका अधिकतर समय कॉलेज में ही बच्चों के साथ गुजरता था

    रिसो :- तुम ऐसा करो तुम कॉल्लगे जाकर जया की डिटेल निकालो

     रूद्र कॉलेज जाता है फैकल्टी व डीन से पूछताछ के बाद वह स्टूडेंट से मिलता है

    रूद्र :-हां तो भाई एमएससी १० यह किन बच्चों का ग्रुप था जरा सामने आ जाओ

    रुद्र :-1.2.3.4.5.6... बच्चे लोगों का ग्रुप था ये

    मैंने सुना था कि जया तुम बच्चों के साथ ज्यादा समय व्यतीत करती थी

    प्रिया:- नहीं सर हम 10 बच्चे हैं  और 11वीं स्नेहा थी.

     रूद्र :-तो बाकी कहां है ?

    प्रिया:- सर ,स्नेहा के मामा के मृत्यु के बाद से स्नेहा कॉलेज नहीं आई.

     ऋषभ :- और ऋत्विकभी उसी दिन से कॉलेज नहीं आया, स्नेहा और ऋत्विक काफी अच्छे दोस्त थे.

     रुद्र:- अच्छा और बाकी दो कहां हैं?

     ऋषभ:- पता नहीं सर 2 दिसंबर से जया मैम और रोहन आशुतोष भी कॉलेज नहीं आए, रोहन ,आशुतोष और ऋत्विक यह खास बच्चे हैं जो समय भंवर में मदद कर रहे थे.

     रुद्र:- समय भंवर यह क्या है?

     प्रिया;- मैम ने हमें अलग-अलग प्रोजेक्ट दिए थे टाइम में पीछे जाने के टॉपिक पर.

     रूद्र :-अच्छा ?

    रूद्र कॉलेज से इन चारों का पता निकालता है.

     रिसो के पास जाकर सारी बातें बताता है.

     रिसो और रुद्र एक-एक करके इनके घर जाते हैं

    आशुतोष का घर

    रिसो:-  नमस्ते जी आपका बेटा है क्या घर पर?

     आशुतोष की माँ:- हाँ ....

     रिसो :- तो बुलाइए जरा पूछताछ के सिलसिले से आए हैं ,इनकी मैडम का कत्ल हुआ है.

     तो बेटा हमने सुना जया मैडम के साथ तुम कुछ टाइम मशीन पर काम कर रहे थे..

     आशुतोष घबराते हुए :- हां जी सर।

    रिसो:- बेटा सब सच बताना आखिर क्यों और ऐसा क्या हुआ कि तुम कुछ बच्चों को ही सदमा लगा

    आशुतोष:- सर मैडम ने हमें छात्रवृत्ति दिलवाई थी, और रोहन और मुझे मैडम ने कहा तुम्हें अपने पिताजी का बदला लेना है, हम मान गए जया मैडम एक यंत्र पर कार्य कर रही थी वह कह रही थी कि तुम्हारे पिता और मेरे पति के कातिल का एक साथ पता लगाएंगे ऐसा करने के लिए उन्होंने एक ग्रुप बनाया एमएससी १० ,ऋत्विक हम सबसे ज्यादा होनहार था उसकी मदद से उन्होंने एक लूप तैयार किया जिससे समय में आगे पीछे आया जा सके ऋत्विक और जया मैडम ने पता लगाया कि उनके पति और हमारे पिता का कातिल शांतनु है और शांतनु  स्नेहा का मामा था, जया मैडम ने कहा कि शांतनु को 8 दिसंबर के दिन मारेंगे पर अचानक ही 2 दिसंबर को शांतनु मारा गया जया मैडम ने हमें कॉलेज न आने को  कहा.

     रिसो :-बेटा क्या हुआ था तुम्हारे पिता के साथ जो तुम बदले की आग में हो?

    आशुतोष की माँ :- वो भी पुलिस वाले थे आप की तरह ही... उन्हें भी एक केस मिला था पर अचानक उनके साथी राजीव और विजय उनके साथ  अचानक ही गायब हो गए और वह सभी सबूत और पहलू गायब हो गए जिस पर जय काम कर रहे थे ,जया की शादी राजीव से होने वाली थी उसको पाने की चाह में उसने एक यंत्र बनाया

    रिसो :-आप कानून के नजरों में ही रहेंगे जब तक यह केस सोल्व नहीं हो जाता.  

    आशुतोष:- यह मामूली केस नहीं है, आपको समय यात्रा करनी होगी.

     रूद्र:- वह सब हम पर छोड़ दो..

     रुद्र और रिसो बाहर आते हैं.

     रुद्र :-जब शांतनु की मृत्यु हुई स्नेहा तब भी घर में नहीं थी... मैं फिर गया था वह, तब भी नहीं मिली और कोई जानने वाला भी नहीं है उन लोगों का,,,, 2 दिसंबर को शांतनु की लाश हरिद्वार में मिली और 8 दिसंबर की शाम को स्नेहा आंटी की लाश मिली उसी दिन से स्नेहा भी गायब है

    रिसो :-हमे बस स्नेहा का पता लगाना है कैस सोल्व हो जाएगा,

    रूद्र :- तुम्हें याद है जब हम जया का फ़ोन चेक कर रहे थे उनमें से एक डॉक्यूमेंट था जिसमें सिर्फ uk08डी२०४२  लिखा था

    रीसो :-मुझे कुछ समझ नहीं आया?

    रूद्र :- यार भाई ऐसी गाड़ियों के नंबर का रजिस्ट्रेशन 2026 के बाद नहीं हुआ और आजकल इस टाइप की गाड़ियां खासकर पेट्रोल की गाड़ियां ज्यादा यूज़ नहीं होती है,

    रिसो :- अजीब बात तो है और जरा उसके बारे में डिपार्टमेंट से पता लगाओ की जय और राजीव कौन से को इन्वेस्टिगेट कर रहे थे.

    रूद्र :- ठीक है

    रिसो :-और इस ऋत्विक को पकड़ो इसने यंत्र बनाने में मदद की थी इसे कुछ ना कुछ तो पता ही होगा.

     रिसो और रुद्र ऋत्विक के घर जाते हैं..

    ऋत्विक बहुत डरा रहता है रिसो और रूद्रउससे मिलते हैं .

    रिसो :-ऋत्विक तुम अपनी मैडम के साथ किसी यंत्र पर काम कर रहे थे?

     ऋत्विक :-सर समय भंवर पर.

     रिसो :-यह क्या है?

    ऋत्विक :- यही तो असली फसाद की जड़ है .मैडम जी ने अपना समय बदलने के लिए यहां यंत्र बनाया उन्हें पता चल गया था कि आखिर राजीव गायब कैसे हुआ ..स्नेहा के मामा के मरने के बाद खुद स्नेहा ने इस यंत्र को इस्तेमाल किया और गायब हुई .

    सर एक व्यक्ति जो अपने आप को सी-आर कहता है वह 9 अरब साल पहले भविष्य से आया है उसने बताया कि अगर किसी ने भी गायत्री वल्लभ से संबंधित घटना को बदलने की कोशिश की तो वहां उस समय को खत्म कर देगा. जया मैडम और इस सी-आर ने यलो नोटबुक और यूके०८ डी2042 का जिक्र भी किया है

     रिसो :- इसका मतलब क्या हुआ?

    ऋत्विक :- मैडम के अनुसार uk08 डी२०४२ फाइल है जिसमें वह सब सबूत है जिस केस को जय और राजीव संभाल रहे थे, और सी-आर के मुताबिक यहां गायत्री द्वारा बनाया गया निर्देशांक है.

    रिसो :- गायत्री कौन है ?

    ऋत्विक :-यह मर चुका है २०२७ में, इसने एक निर्देशांक होने की परिकल्पना की है जहां दुनिया खत्म होने पर जाया जा सके.. जिस दिन वो तीनो मरे  मैं वहां था

    रूद्र :-किसने मारा था ?

    ऋत्विक :-जया और स्नेहा आंटी को विजय ने मारा था .और विजय को सी-आर ने मारा फिर  अचानक एक लूप खुला सी-आर ने मुझे भागने को कहा.... मैं भागा और छुप गया और देखता रहा सी-आर ने भी एक लूप  खोला और गायब हो गया विजय को लेकर,, फिर उन लोगों ने एक बॉक्स उस लाश के पास रख दिया और वह भी चले गए ..

    रुद्र:- कौन लोग ?

    ऋत्विक :- पता नहीं पर वो भी लूप से ही कहीं से आये थे और वो सी-आर को मरना चाहते थे.

     रिसो:- रूद्र, यह केवल मर्डर केस नहीं हैं .. कुछ और  कुछ तो ऐसा है जो बहुत बड़ा झोल चल रहा

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